ईद मुबारक बंधुवर, होवे दुआ क़ुबूल ।
प्यारे हिन्दुस्तान में, बैठे उडती धूल ।
बैठे उडती धूल, आंधियां अब थम जावें ।
द्वेष ईर्ष्या भूल, लोग न भगें-भगावें ।
झंझट होवे ख़त्म, ख़तम हों टंटा -कारक ।
दुनिया के सब जीव, सभी को ईद मुबारक ।
महिमा गायें पंथ सब, सभी सिखाते दान |
बांटो अपना खास कुछ, करो जगत उत्थान |
करो जगत उत्थान, फर्ज है समझदार का |
मानवता का कर्ज, उतारो हर प्रकार का |
जो निर्बल मोहताज, करे कुछ गहमी गहमा |
होय मुबारक ईद, दान की हरदम महिमा ||
बांटो अपना खास कुछ, करो जगत उत्थान |
करो जगत उत्थान, फर्ज है समझदार का |
मानवता का कर्ज, उतारो हर प्रकार का |
जो निर्बल मोहताज, करे कुछ गहमी गहमा |
होय मुबारक ईद, दान की हरदम महिमा ||
ईद मुबारक दिल सो ।
ReplyDeleteरविकर भाई, आपको भी ईद मुबारक हो।
ReplyDelete............
हर अदा पर निसार हो जाएँ...
ईद मुबारक बंधुवर, होवे दुआ क़ुबूल ।
ReplyDeleteप्यारे हिन्दुस्तान में, बैठे उडती धूल ।
बैठे उडती धूल, आंधियां अब थम जावें ।
द्वेष ईर्ष्या भूल, लोग न भगें-भगावें ।
झंझट होवे ख़त्म, ख़तम हों टंटा -कारक ।
दुनिया के सब जीव, सभी को ईद मुबारक ।
बहुत बढ़िया प्रस्तुति दुआ करती कौम की वतन की सलामती की ,दाल रोटी और पीजा में फर्क समझो यारों ,मन बनों किसी का रोबोट यारों ...ईद मुबारक ,ईद का चंद मुबारक ,हर दिन हो ईद आपकी ...
ram ram bhai
सोमवार, 20 अगस्त 2012
सर्दी -जुकाम ,फ्ल्यू से बचाव के लिए भी काइरोप्रेक्टिक
ईद मुबारक बंधुवर, होवे दुआ क़ुबूल ।
ReplyDeleteप्यारे हिन्दुस्तान में, बैठे उडती धूल ।
बैठे उडती धूल, आंधियां अब थम जावें ।
द्वेष ईर्ष्या भूल, लोग न भगें-भगावें ।
झंझट होवे ख़त्म, ख़तम हों टंटा -कारक ।
दुनिया के सब जीव, सभी को ईद मुबारक ।
बहुत बढ़िया प्रस्तुति दुआ करती कौम की वतन की सलामती की ,दाल रोटी और पीजा में फर्क समझो यारों ,मत बनों किसी का रोबोट यारों ...ईद मुबारक ,ईद का चंद मुबारक ,हर दिन हो ईद आपकी ...रविकर फैजाबादी की रचना पर वीरुभाई .....
ram ram bhai
सोमवार, 20 अगस्त 2012
सर्दी -जुकाम ,फ्ल्यू से बचाव के लिए भी काइरोप्रेक्टिक
ईद मुबारक बंधुवर, होवे दुआ क़ुबूल ।
ReplyDeleteप्यारे हिन्दुस्तान में, बैठे उडती धूल ।
बैठे उडती धूल, आंधियां अब थम जावें ।
द्वेष ईर्ष्या भूल, लोग न भगें-भगावें ।
झंझट होवे ख़त्म, ख़तम हों टंटा -कारक ।
दुनिया के सब जीव, सभी को ईद मुबारक ।
बहुत बढ़िया प्रस्तुति दुआ करती कौम की वतन की सलामती की ,दाल रोटी और पीजा में फर्क समझो यारों ,मत बनों किसी का रोबोट यारों ...ईद मुबारक ,ईद का चाँद मुबारक ,हर दिन हो ईद आपकी ...रविकर फैजाबादी की रचना पर वीरुभाई .....
ram ram bhai
सोमवार, 20 अगस्त 2012
सर्दी -जुकाम ,फ्ल्यू से बचाव के लिए भी काइरोप्रेक्टिक
ईद मुबारक,बहुत बढ़िया प्रस्तुति ... हार्दिक शुभकामनाएँ!
ReplyDeleteबहुत सुन्दर प्रस्तुति ..
ReplyDeleteआपको भी ईद मुबारक!
ईद मुबारक,बहुत बढ़िया , शुभकामनाएँ!
ReplyDeleteEid mubaarak . sundar bhaav---
ReplyDeleteआप भी ईद की ढेरों मुबारकबाद क़ुबूल फरमाइए!
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