सिन्धी-शिंदे खा रहे, निज गृह नित फटकार |
नारी शक्तिकरण में, बिला-वजह की रार |
नारी शक्तिकरण में, बिला-वजह की रार |
बिला-वजह की रार, नहीं नाजायज सत्ता |
बने असम में फिल्म, चले दिल्ली-कलकत्ता |
व्यंग-चिकोटी काट, पुरुष जुल्मी शर्मिन्दे ||
जया सोनिया शक्ल, कांपते सिन्धी-शिंदे |
Sushil Kumar Shinde apologises for 'filmy' dig at Jaya Bachchan in ...
फ़िल्मी दंगे क़त्ल सम, समझ असम का केस |
है सशक्त यह पटकथा, सुन सुशील सन्देश |
सुन सुशील सन्देश, मांगते माफ़ी शिंदे |
सेंसर करता बोर्ड, सीन काटे सब गंदे |
रही खड़ी चुपचाप, मरे शोले में घर-भर |
अपना रस्ता नाप, अरे फ़िल्मी घन चक्कर ||
है सशक्त यह पटकथा, सुन सुशील सन्देश |
सुन सुशील सन्देश, मांगते माफ़ी शिंदे |
सेंसर करता बोर्ड, सीन काटे सब गंदे |
रही खड़ी चुपचाप, मरे शोले में घर-भर |
अपना रस्ता नाप, अरे फ़िल्मी घन चक्कर ||
समझी झट इस बार, तभी तो फट गुस्साई-
इत्ता गुस्सा बाप रे, अडवानी की भूल |
यू पी ए टू कह गए, दे दी जम के तूल |
दे दी जम के तूल, मीडिया समझ न पाया |
रविकर ने इस बार, उसे ऐसे समझाया |
हिंदी भाषा ज्ञान, ख़तम की पूर्ण पढ़ाई |
समझी झट इस बार, तभी तो फट गुस्साई ||
जी हाँ असम की और २००८ में यू पी ए २ की सरकारें अवैध ही कही जायेंगी .असम के एक मुख्य मंत्री तो लालू की तरह (बड़)बोले थे ,मुझे कोई नहीं हटा सकता मेरे साथ बिहारी मजदूर है बांग्ला देशी हैं जितने मर्जी बुला लूं .क्या हिंदी सीखने के बाद आदमी गुर्राने लगता है .जब से पीज़ा पास्ता हुए मूल आहार ,इटली से चलने लगा सारा कारोबार .बढ़िया पोस्ट रविकर जी की विविधा समेटे जन्म अष्टमी के मौके पर जब कि सारा चर्चा मंच कृष्ण मय हो चुका है ,क्या अजब इत्तेफाक "कृष्ण बाल "अभी भी सरकारी जेल में हैं .अपराध देश सेवा ...कृपया यहाँ भी पधारें -
ReplyDeleteशनिवार, 11 अगस्त 2012
Shoulder ,Arm Hand Problems -The Chiropractic Approach
http://veerubhai1947.blogspot.com/
जब से पीजा पास्ता हुए मूल आहार ,
ReplyDeleteइटली से चलने लगा सारा कारोबार . जया सोनिया शक्ल, कांपते सिन्धी-शिंदे......क्या गलत कहा आडवाणी ने असम और यू पी ए २ की सरकार (२००८ ) की अवैध ही कही जायेगी सांसद खरीद फरोख्त का नतीजा थी और असम के एक मुख्य मंत्री तो बडबोले पन में लालू के भी बाप थे कहते थे मुझे कोई नहीं हटा सकता जब तक बिहारी मजदूर और बांग्ला देशी मेरे साथ हैं जितने जब चाहूँ घुसा लूं असम में .
समझी झट इस बार, तभी तो फट गुस्साई-
ReplyDeleteरविकर को ये बात बहुत जल्दी समझ में आई
समझ में जैसे आई लाकर पोस्ट एक चिपकाई
समय देख कर देखिये बदल रही है माई !!